तीन दोहा शतक (Teen Doha Shatak)

150 135
Language Hindi
Binding Paperback
Pages 58
ISBN-10 9394369554
ISBN-13 978-9394369559
Book Dimensions 5.50 x 8.50 in
Edition 1st
Publishing Year 2022
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Author: Dr. Om Joshi

ज्ञानपिटारा (साक्षरता शतक), परिमल (पर्यावरण शतक) और कादम्बरी (मद्यनिषेध शतक), साक्षरता, पर्यावरण और मद्यनिषेध को क्रमशः समर्पित तीन सौ दोहे अपने अपने विषयों को सुन्दर, सजीव चित्रों की तरह रेखांकित करते हैं। सुगठित दोहों में विषय विशेष का अद्भुत से अद्भुत प्रतिपादन किसी भी रसिक पाठक को रसनिमग्न कर ही देता है । डॉ. ओम् जोशी के साक्षरता, पर्यावरण और मद्यनिषेध ये तीनों शतक इस तथ्य के साक्षात् ‘प्रमाण’ हैं । कुछ ‘दोहे’ चिन्तनपरक, कुछ व्यंग्यनिष्ठ तो कुछ शिक्षाप्रद हैं । प्रकृति के अनेक ‘सम्मोहक’ चित्र भी इन तीन शतकों में सहज उपलब्ध हैं । तीनों ‘शतक’ सन्दर्भित विषयों के साथ पूर्णतः न्याय भी कर रहे हैं । स्मरण रहे.. ये तीनों ‘शतक’ आज से प्रायः.. छब्बीस वर्षों पूर्व रचे गए । ज्ञानपिटारा (साक्षरता शतक) का एक दोहा अवश्य द्रष्टव्य – कह दो इस संसार से, जला ‘प्रेम’ की जोत । ‘पार ज्ञान पतवार से, मानव जीवन पोत’ । । एक दोहा परिमल अर्थात् पर्यावरण शतक से अवश्य देखें – पृथ्वी का पर्यावरण, बहुत प्रदूषित आज । कटते पेड़ों ने कहा, – ‘बड़ा बुरा यह काज’ मद्यनिषेध को रेखांकित करता एक सम्प्रेरक दोहा अवश्य द्रष्टव्य – मदिरा सुखनाशक, मनुज ! यही घोर दुख मूल । प्रतिदिन ‘मदिरापान’ से स्वर्णिम जीवन धूल । ।

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